समय का पहिया चले रातदिन
आगे बढ़ता रहता ये प्रतिदिन

बदलता रहता अपनी तान
बड़ी निराली है इसकी शान

हर पल करो समयका मान
नहीं रहता है ये एकसमान

#एकसमान

Hindi Poem by Parul : 111569091

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