माना की इस पल तू सिकंदर, हम अनाडी हैं,
पर वक़्त का पहिया बदलेगा जनाब
क्योंकि रचनाधार तो वो 🤲 है,
हम तो मात्र उसके खिलाड़ी हैं।।

-श्रुति शर्मा

Hindi Shayri by Shruti Sharma : 111753304

The best sellers write on Matrubharti, do you?

Start Writing Now