❣️*खुशियाँ कम और अरमान बहुत हैं ।*
*जिसे भी देखो परेशान बहुत है *

*करीब से देखा तो निकला रेत का घर ।*
*मगर दूर से इसकी शान बहुत है ।।*

*कहते हैं सच का कोई मुकाबला नहीं ।*
*मगर आज झूठ की पहचान बहुत है ।।*

*मुश्किल से मिलता है शहर में इन्सान।*
यूं तो कहने को आदमी बहुत हैं ❣️

Hindi Motivational by Rooh   The Spiritual Power : 111731268

The best sellers write on Matrubharti, do you?

Start Writing Now