My Wonderful Poem..!!


यारों यहाँ कोई सब कुछ खो
कर भी खुश रह पाता है

ओर कोई तो सब कुछ पा कर
भी हर वक़्त बस रोता है

जी हाँ नज़रें तो होती है सब की
अमूमन एक जैसी ही पर

देखने का नज़रिया ही सब का
अपना अलग-अलग होता है

एक बाज़ फ़लक से ज़मीन तक
देख शिकार कर लेता है

ओर नादान बंदा ज़मीन पर रह
कर भी रब से दूर होता है

कहने को प्रभु-आस्था के नाम पर
बड़े-बड़े व्याख्यान करता हैं

पर अति-सूक्ष्म कोरोना-संक्रमण
से प्रभु-आस्था ही खो देता हैं

प्रभु-लीला अपरम्पार यह जानत
तो है पर यक़ीन ही खो देवत हैं

पर होते कुछ बंदे एसे भी जो मौत
को भी मात दे कर घर लौटत हैं

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Hindi Motivational by Rooh   The Spiritual Power : 111689095

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