तेरे कोरे दिल को अपने लहु की स्याही से रंगीन कर देते हैं,
मोहब्बत जुर्म है तो चलो ये जुर्म भी संगीन कर देते हैं,
सुना है इस आसमां को बहुत गुरूर है आसमां होने का,
चलो आज क़दमों के नीचे लाकर इसे भी जमीन कर देते हैं..

-Satyendra prajapati

Hindi Shayri by Satyendra prajapati : 111639173

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