#महात्मा
आत्म विश्वास

पैसों से ना तोल हर चीज,
ये तो अहम का भारा है,

तुलसी के पत्ते से कभी हारा है।
कहीं किसके आत्मविश्वास से हारा है।

हर पत्ती सुनाती यही कहानी,
रख के तस्वीर अपने स्टेटस में,
अपनी जुबानी हार की कहानी।

महात्मा ना बना कोई पैसों से,
हर कोई बना अपने कर्मो से।
Mahek Parwani

Hindi Poem by Mahek Parwani : 111583628

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