न जाने कितनी बार तूने मुझे रूलाने की कोशिश की मगर मुस्कुराने के बहाने ढ़ूंढ़ लाने में हम भी कुछ कम तो नहीं!
तू लाख बिछा दे कांटे मुश्किलों और दर्दों गम के मेरी राहों में ए जिंदगी
मगर मुसीबतों से डरकर मुंह छुपाने वाले हम
तो नहीं!!

-NISHA SHARMA

‘YATHARTH’

Hindi Shayri by निशा शर्मा : 111572653

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