अपने जीवन से,
तेरा मिटा दिया है मैंने वजुद;

कोई नहीं है दिलमें,
जो रहते थे हर वक्त मोजुद;

दिल मेरा क्युं तोड़ा,
जब जाना ही था हमसे दूर;

इतनी #चालाकी से,
कोई भला करता है मजबूर?

#चालाकी

Hindi Poem by વિનોદ. મો. સોલંકી .વ્યોમ. : 111546907

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