आज भी तुम वैसे ही हो
वही आवाज़
वही अंदाज़ है
तुम्हारे देखने में आज भी
वही नशा है
वही गहरायी है
मिले इतने सालों बाद तुम
फिर हमें एक बार
छोड़कर जाने के लिये
फिर पहले की तरह
हमें इश्क़ में तड़पाने के लिये
सच! तुम बिल्कुल वैसे ही तो हो
आज भी
तुम नहीं बदले

- अनिता पाठक

Hindi Shayri by अनुभूति अनिता पाठक : 111523782

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