भंवर से निकल कर एक किनारा मिला है,
जीने को फिर एक सहारा मिला है,
बहुत कश्मकश में थी ये जिंदगी मेरी,
अब इस जिंदगी में साथ तुम्हारा मिला है

-आनंद सरिता

Hindi Shayri by Sarita : 111505758

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