बहुत ख़ूबसूरत लगते हैं वो लड़के,
जो सँवारते हैं अपनी माँ के बालों को।
और दबाते हैं पैर पिताजी के..
जो देखते हैं एकटक अपनी प्रेमिका को,
और फिर भिगा लेते हैं अपनी आँखें, उसे मात्र निहारकर।

क्योंकि प्रेम का आनंद सर्वप्रथम आँखों से छलकता है।
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Hindi Thought by Roopanjali singh parmar : 111441703

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